रेमन मैगसेसे अवॉर्ड में रवीश कुमार का भाषण
नमस्कार, भारत चांद पर पहुंचने वाला है. गौरव के इस क्षण में मेरी नज़र चांद पर भी है और ज़मीन पर भी, जहां चांद से भी ज़्यादा गहरे गड्ढे हैं. दुनियाभर में सूरज की आग में जलते लोकतंत्र को चांद की ठंडक चाहिए. यह ठंडक आएगी सूचनाओं की पवित्रता और!-->…